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  • 30 Aug 2024 सामान्य अध्ययन पेपर 4 केस स्टडीज़

    दिवस- 47: एक सब-इंस्पेक्टर को एक व्यस्त शहर में सड़क के किनारे नमाज पढ़ रहे लोगों के एक समूह को हिंसक तरीके से परेशान करते हुए दिखाया गया था। वीडियो में अधिकारी को सड़क पर व्यस्त यातायात के लिये जगह खाली करने के लिये शारीरिक बल का प्रयोग करते हुए दिखाया गया, जिसमें लात मारना भी शामिल है। यह घटना तुरंत वायरल हो गई, जिससे लोगों में आक्रोश फैल गया।

    यहाँ नमाज एक धार्मिक स्थल पर जगह की कमी के कारण सड़क पर ही अदा की जा रही थी, जहाँ श्रद्धालुओं की भीड़ के कारण लोगों को बाहर ही नमाज पढ़नी पड़ी। इसके बावजूद, जिस तरह से सब-इंस्पेक्टर ने स्थिति को संभाला, वह अत्यधिक और अनुचित माना गया।

    घटना के विरोध में स्थानीय निवासी नजदीकी पुलिस स्टेशन पर एकत्र हुए और दुर्व्यवहार के लिये न्याय की मांग की। उन्होंने सड़क भी जाम कर दिया, जिससे यातायात में काफी व्यवधान उत्पन्न हुआ। प्रदर्शनकारियों ने तर्क दिया कि सब-इंस्पेक्टर की कार्रवाई अभूतपूर्व थी तथा कानून प्रवर्तन अधिकारियों के आचरण के बारे में गंभीर चिंताएँ पैदा करती है।

    दिये गए परिदृश्य में:

    1. इस स्थिति में पुलिस विभाग को किन नैतिक दुविधाओं का सामना करना पड़ता है और न्याय तथा सार्वजनिक विश्वास सुनिश्चित करते हुए उन्हें इसका किस प्रकार समाधान करना चाहिये?
    2. यदि आप पुलिस विभाग के प्रमुख होते, तो भविष्य में इसी तरह की घटनाओं को रोकने के लिये आप क्या कदम उठाते? नैतिक तर्क के साथ अपने निर्णय को उचित ठहराइये।
    3. सार्वजनिक स्थानों पर धार्मिक प्रथाओं के सम्मान के साथ सार्वजनिक व्यवस्था की आवश्यकता को संतुलित करने के लिये कानून प्रवर्तन द्वारा कौन-सी नीतियाँ या प्रक्रियाएँ लागू की जानी चाहिये?

    मुख्य बिंदु जल्द ही अपलोड किए जाएंगे
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