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02 Sep 2023
सामान्य अध्ययन पेपर 1
भूगोल
दिवस-42. विश्व में भूकंपों की घटना और विभिन्न प्रकार के भूकंपीय क्षेत्रों के निर्माण में प्लेट विवर्तनिकी की भूमिका का मूल्यांकन कीजिये। (150 शब्द)
उत्तर
हल करने का दृष्टिकोण:
- प्लेट विवर्तनिकी का संक्षिप्त परिचय देते हुए उत्तर की शुरुआत कीजिये। यह भी बताइये कि यह भू-विज्ञान की आधारशिला कैसे है और यह कैसे बताता है कि पृथ्वी की स्थल मंडलीय प्लेटें किस प्रकार विचरण करती हैं?
- प्लेट विवर्तनिकी भूकंप और भूकंपीय क्षेत्रों को कैसे प्रभावित करती हैं, वर्णन कीजिये।
- प्लेट विवर्तनिकी के महत्त्व पर ज़ोर देते हुए निष्कर्ष लिखिये।
प्लेट विवर्तनिकी विश्व भर में भूकंपीय घटनाओं और विभिन्न प्रकार के भूकंपीय क्षेत्रों के निर्माण में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। प्लेट विवर्तनिकी के अनुसार, पृथ्वी का स्थलमंडल कई वृहद और लघु प्लेटों में विभाजित है जो अर्द्ध-द्रव दुर्बलतामंडल (एस्थेनोस्फीयर) पर तैरती हैं। ये प्लेटें निरंतर गति करती हैं तथा प्लेट सीमाओं पर परस्पर क्रिया कर पृथ्वी पर अधिकांश भूकंपों और भूकंपीय गतिविधियों के लिये ज़िम्मेदार हैं।
प्लेट विवर्तनिकी भूकंप और भूकंपीय क्षेत्रों को कैसे प्रभावित करती हैं?
1. प्लेट सीमा और भूकंप की उत्पत्ति:
- अभिसरण सीमाएँ: अभिसरण प्लेट सीमाओं पर दो प्लेटें एक दूसरे की ओर बढ़ती हैं तब टकराव के परिणामस्वरूप प्रविष्ठन (सबडक्शन) हो सकता है, जहाँ एक प्लेट दूसरे के नीचे धँस जाती है, जिससे तीव्र दाब उत्पन्न होता है और भूकंप के रूप में ऊर्जा उत्सर्जित होती है। प्रविष्ठन क्षेत्र (सबडक्शन ज़ोन) पृथ्वी पर सबसे अधिक भूकंपीय रूप से सक्रिय क्षेत्रों में से हैं, जहाँ गहरे और उथले भूकंप आते हैं।
- अपसारी सीमाएँ: अपसारी प्लेट सीमाओं पर दो प्लेटें एक दूसरे से विपरीत जा रही हैं। इनके पृथक होने से भू-पर्पटी विघटित हो सकती है, जो संभ्रांति उत्पन्न कर सकती है। यह बाद में मेंटल से मैग्मा तक इन अंतरालों की पूर्ति के लिये ऊपर उठ सकता है, जिससे ज्वालामुखी गतिविधि और भूकंपीय घटनाएँ हो सकती हैं।
- रूपांतर सीमाएँ: रूपांतर प्लेट सीमाओं पर, दो प्लेटें क्षैतिज रूप से एक-दूसरे के साथ सरकती हैं। इन प्लेटों के बीच होने वाला घर्षण उन्हें आसानी से सरकने से रोकता है, ऐसे में जब तनाव घर्षण से अधिक हो जाता है, तो रूपांतर भ्रंश के साथ भूकंप आ सकता है। कैलिफोर्निया में सैन एंड्रियास भ्रंश इसका प्रसिद्ध उदाहरण है।
2. इंट्राप्लेट (अंतर्प्लेट) भूकंप: अधिकांश भूकंप प्लेट सीमाओं पर आते हैं, कुछ विवर्तनिक प्लेट के आंतरिक भाग में भी आते हैं, जिन्हें इंट्राप्लेट भूकंप के रूप में जाना जाता है। ये प्रायः प्लेट के भीतर प्राचीन भ्रंश रेखाओं या उच्च तनाव वाले क्षेत्रों से संबंधित होते हैं। ये सामान्यतः कम ही आते हैं लेकिन काफी विनाशकारी हो सकते हैं।
3. भूकंपीय क्षेत्रों का निर्माण:
- रिंग ऑफ फायर: पैसिफिक रिंग ऑफ फायर (सर्कम-पैसिफिक बेल्ट) एक घोड़े की नाल के आकार की भूकंपीय पेटी है जो प्रशांत महासागर को घेरे हुए है। इसे परि-प्रशांत पेटी के नाम से भी जाना जाता है। यह एक अभिसरण प्लेट सीमा है, जिसमें प्रशांत प्लेट और अन्य छोटी प्लेटें एशिया, ऑस्ट्रेलिया, उत्तरी अमेरिका तथा दक्षिण अमेरिका के हाशिये पर महाद्वीपीय प्लेटों के नीचे दब रही हैं। यह विश्व में सबसे अधिक भूकंपीय और ज्वालामुखीय रूप से सक्रिय क्षेत्र है, जिसमें पृथ्वी के लगभग 81% सबसे बड़े भूकंप और 75% सक्रिय ज्वालामुखी क्षेत्र स्थित हैं।
- मध्य-अटलांटिक कटक: यह एक विशुद्ध समुद्री भूकंपीय पेटी है जो उत्तरी अमेरिकी और यूरेशियन प्लेटों तथा दक्षिण अमेरिकी एवं अफ्रीकी प्लेटों की सीमा पर स्थित है। यह एक अपसारी प्लेट सीमा है, जिसमें प्लेटें एक-दूसरे से विपरीत जा रही हैं, जिसके परिणामस्वरूप ज्वालामुखी विस्फोट हो रहे हैं और नवीन सागरीय परत का निर्माण हो रहा है। यह वैश्विक मध्य-महासागर कटक प्रणाली का भाग है जो पृथ्वी को घेरे हुए है।
- हिमालयी भूकंपीय क्षेत्र: यह तीव्र भूकंपीय संचलन की एक पेटी है जो जावा तथा सुमात्रा से लेकर इंडोचाइनीज़ प्रायद्वीप, हिमालय और ट्रांस-हिमालय, ईरान के पर्वतों, कॉकेशस, अनातोलिया, भू-मध्य सागर एवं अटलांटिक तक विस्तृत है। इसे अल्पाइन-हिमालयी ओरोजेनिक (पर्वत जनन पेटी) के नाम से भी जाना जाता है। यह उत्तर की ओर बढ़ने वाली अफ्रीकी, अरब और भारतीय प्लेटों के यूरेशियन प्लेट के साथ टकराव का परिणाम है। यह विश्व के सबसे बड़े भूकंपों का लगभग 17% है।
प्लेट विवर्तनिकी भूकंप संचलन और विश्व भर में भूकंपीय क्षेत्रों के निर्माण की मूल चालक है। मानव जनसंख्या और बुनियादी ढाँचे पर भूकंप के प्रभाव की भविष्यवाणी करने एवं उसे कम करने के लिये इन विवर्तनिकी प्रक्रियाओं को समझना आवश्यक है।