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WMO द्वारा वर्ष 2024 की सूची से हरिकेन के नाम हटाना

  • 11 Apr 2025
  • 2 min read

स्रोत: बिज़नेस लाइन

विश्व मौसम विज्ञान संगठन (WMO) ने वर्ष 2024 में होने वाली अपूरणीय क्षति के कारण चार हरिकेन बेरिल, हेलेन, मिल्टन और जॉन को अपनी अटलांटिक और पूर्वी प्रशांत हरिकेन सूचियों से हटा दिया है, जिससे संबंधित आघात और संवेदनशीलता के कारण उनका पुनः उपयोग अनुपयुक्त हो गया है।

  • बेरिल अब तक का सबसे प्रारंभिक श्रेणी-5 हरिकेन (157 मील प्रति घंटे से अधिक की गति वाली पवनें) बन गया, जिसने कैरीबियाई क्षेत्र को बुरी तरह प्रभावित किया।
  • हेलेन और मिल्टन के कारण संयुक्त राज्य अमेरिका में विनाशकारी क्षति हुई, जबकि जॉन के कारण मैक्सिको में गंभीर बाढ़ आई।
  • WMO ने अटलांटिक में प्रतिस्थापन के रूप में ब्रायना, होली और मिगुएल को और पूर्वी प्रशांत क्षेत्र में जेक को चुना है। जब तक कि अत्यधिक प्रभाव के कारण उन्हें हटा न दिया जाए, चक्रवातों के नाम प्रत्येक छह वर्ष में प्रयुक्त किये जाते हैं।
  • भारत में चक्रवातों का नामकरण: भारत बंगाल की खाड़ी और अरब सागर में आने वाले चक्रवातों के लिये एक बार की नामकरण प्रणाली (One-Time Naming System) का उपयोग करता है। 
  • जब वायु की गति 34 नॉट या उससे अधिक हो जाती है, तो चक्रवातों को नाम दे दिया जाता है, तथा इन नामों का कभी भी पुनः उपयोग नहीं किया जाता, भले ही चक्रवात किसी अन्य क्षेत्र में चला जाए।
    • भारतीय मौसम विभाग तटीय देशों की ओर से उष्णकटिबंधीय चक्रवात क्षेत्रीय निकाय के साथ समन्वय में चक्रवातों का नामकरण करता है, जिसमें 13 देश (भारत, बांग्लादेश, मालदीव, म्याँमार, पाकिस्तान, श्रीलंका, ओमान, थाईलैंड, ईरान, कतर, सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात और यमन) शामिल हैं।

और पढ़ें: उष्णकटिबंधीय चक्रवातों के नामों की नई सूची

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