शॉर्ट रेंज बैलिस्टिक मिसाइल 'Agni-1' का सफल प्रशिक्षण प्रक्षेपण | 11 Dec 2023
स्रोत: पी.आई.बी.
हाल ही में ओडिशा के एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से शॉर्ट-रेंज बैलिस्टिक मिसाइल 'अग्नि-1 (Agni-1)' का प्रशिक्षण प्रक्षेपण सफलतापूर्वक किया गया। सामरिक बल कमान के तत्त्वावधान में किये गए प्रक्षेपण ने सभी परिचालन और तकनीकी मानकों को सफलतापूर्वक मान्य किया।
क्या है बैलिस्टिक मिसाइल 'Agni-1'?
- परिचय:
- Agni-1 एक शॉर्ट रेंज की बैलिस्टिक मिसाइल (SRBM) है जिसे भारत ने अपनी अग्नि शृंखला की मिसाइलों के हिस्से के रूप में विकसित किया है। यह अग्नि शृंखला की पहली मिसाइल है और इसे परमाणु पेलोड ले जाने में सक्षम रणनीतिक हथियार के रूप में डिज़ाइन किया गया है।
- Agni-1 मुख्य रूप से संभावित विरोधियों के खिलाफ रक्षा/प्रतिवारक के रूप में उपयोग के लिये है और इसे क्विक रिस्पॉन्स टाइम के लिये जाना जाता है।
- यह इंटीग्रेटेड गाइडेड मिसाइल डेवलपमेंट प्रोग्राम (IGMDP) के तहत अग्नि शृंखला की मिसाइलों का पहला संस्करण है।
- तकनीकी विशेषता:
- Agni-1 एकल चरण, ठोस ईंधन वाली मिसाइल है, जिसकी मारक क्षमता लगभग 700 से लगभग 1200 किलोमीटर है और यह 1,000 किलोग्राम का पेलोड ले जा सकती है, जो इसे शॉर्ट रेंज की बैलिस्टिक मिसाइल बनाती है। इसमें पारंपरिक एवं परमाणु दोनों तरह के हथियार ले जाने की क्षमता है।
- ठोस-ईंधन प्रणोदन प्रणाली इसके परिचालन लचीलेपन को बढ़ाती है और प्रक्षेपण हेतु तैयारी के समय को कम करती है।
- विकास एवं परीक्षण:
- अग्नि-1 को भारत में रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) द्वारा विकसित किया गया था। मिसाइल ने अपने प्रदर्शन और विश्वसनीयता को प्रमाणित करने के लिये कई सफल परीक्षण किये हैं।
- अग्नि-1 का पहली बार परीक्षण वर्ष 1989 में चाँदीपुर के परीक्षण रेंज में किया गया था। भारतीय सेना ने अग्नि-1 को 2007 में सेवा में स्वीकार किया।
अग्नि श्रेणी की अन्य मिसाइलें कौन सी हैं?
अग्नि शृंखला भारत द्वारा विकसित बैलिस्टिक मिसाइलों का एक समूह है, जिसका प्रत्येक संस्करण विशिष्ट रेंज और उद्देश्यों के लिये डिज़ाइन किया गया है। अग्नि-1 के अलावा शृंखला में शामिल अन्य उल्लेखनीय मिसाइलें हैं:
- अन्य अग्नि मिसाइलों की रेंज:
- अग्नि II: रेंज 2000 किमी. से अधिक।
- अग्नि III: 2,500 किमी. से अधिक की रेंज।
- अग्नि IV: रेंज 3,500 किमी. से अधिक और सड़क-मोबाइल लॉन्चर से फायर करने में सक्षम।
- अग्नि-V: अग्नि शृंखला की सबसे लंबी, 5,000 किमी. से अधिक की मारक क्षमता वाली एक अंतर-महाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM)।
- अग्नि प्राइम: दो चरणों वाली कनस्तरीकृत मिसाइल (निर्माणाधीन) का जून 2023 में सफलतापूर्वक उड़ान परीक्षण किया गया है।
- यह मिसाइल 1,000-2,000 किमी. की दूरी पर अलग-अलग स्थानों पर आयुध ले जाने में सक्षम है।
- अंतरमहाद्वीपीय प्राक्षेपिक प्रक्षेपास्त्र (InterContinental Ballistic Missile- ICBMs):
- यह एक लंबी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइल है जो विशाल दूरी और विशेष रूप से अंतरमहाद्वीपीय दूरी तक यात्रा करने की क्षमता रखती है।
- वे देश के त्रीपक्षीय परमाणु क्षमता में अहम भूमिका निभाते हैं, जिसमें सतह आधारित मिसाइलें, सबमरीन लॉन्च्ड बैलिस्टिक मिसाइल (SLBM) तथा सामरिक बमवर्षक शामिल हैं।
- ICBM की विशेषता उनकी असाधारण लंबी दूरी है, जो आमतौर पर 5,500 किलोमीटर (लगभग 3,400 मील) से अधिक होती है तथा अमूमन 10,000 किलोमीटर (6,200 मील से अधिक) से अधिक की दूरी तक पहुँचती है।
- ICBM एक बैलिस्टिक प्रक्षेपवक्र का अनुसरण करते हैं, जिसका अर्थ है कि उन्हें अपने लक्ष्य पर आक्रमण करने के लिये पृथ्वी के वायुमंडल में फिर से प्रवेश करने से पहले अंतरिक्ष में लॉन्च किया जाता है।
UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्नप्रिलिम्स:प्रश्न: कभी-कभी समाचार में उल्लिखित "टर्मिनल हाई ऑल्टिट्यूड एरिया डिफेंस (टी.एच.एच.डी)" क्या है? (2018) (a) इज़रायल की एक रडार प्रणाली उत्तर: (c) प्रश्न: अग्नि-IV प्रक्षेपास्त्र के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं? (2014)
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