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शासन व्यवस्था

उड़ान 5.0 योजना

  • 24 Apr 2023
  • 7 min read

प्रिलिम्स के लिये:

उड़ान योजना, उड़ान 5.0, वायबिलिटी गैप फंडिंग (VGF), रीजनल कनेक्टिविटी फंड (RCF)

मेन्स के लिये:

उड़ान योजना: विशेषताएँ और उपलब्धियाँ, उड़ान 5.0

चर्चा में क्यों?

हाल ही में सरकार ने क्षेत्रीय संपर्क योजना- उड़ान (UDAN 5.0) के पाँचवें चरण की शुरुआत की है।

उड़ान (उड़े देश का आम नागरिक) योजना:

  • परिचय:
    • इस योजना की शुरुआत नागरिक उड्डयन मंत्रालय द्वारा क्षेत्रीय हवाई अड्डे के विकास और क्षेत्रीय कनेक्टिविटी बढ़ाने के लिये की गई थी।
    • यह राष्ट्रीय नागरिक उड्डयन नीति, 2016 का एक हिस्सा है।
    • यह योजना 10 वर्ष की अवधि के लिये लागू है।
  • उद्देश्य:
    • भारत के दूरस्थ और क्षेत्रीय क्षेत्रों के लिये हवाई संपर्क एवं यात्रा में सुधार करना।
    • दूर-दराज़ के क्षेत्रों का विकास तथा व्यापार-वाणिज्य में वृद्धि एवं पर्यटन का विस्तार करना।
    • आम लोगों को सस्ती दरों पर हवाई यात्रा करने में सक्षम बनाना।
    • विमानन क्षेत्र में रोज़गार सृजन।
  • मुख्य विशेषताएँ:
    • योजना के अनुसार, एयरलाइंस को सभी सीटों के 50% के लिये 2,500 रुपए प्रति उड़ान प्रति घंटे का मूल्य प्रतिबंध निर्धारित करना चाहिये।
    • इसे हासिल करने का माध्यम:
      • केंद्र और राज्य सरकारों एवं हवाई अड्डे के संचालकों से रियायतों के रूप में वित्तीय प्रोत्साहन।
      • व्यवहार्यता अंतराल अनुदान (Viability Gap Funding- VGF)- संचालन की लागत और अपेक्षित राजस्व के बीच अंतर को समाप्त करने हेतु एयरलाइंस को प्रदान किया जाने वाला सरकारी अनुदान।
        • योजना के तहत व्यवहार्यता अंतर वित्तपोषण आवश्यकताओं को पूरा करने हेतु क्षेत्रीय कनेक्टिविटी अनुदान (Regional Connectivity Fund- RCF) की व्यवस्था की गई थी।
    • भागीदार राज्य सरकारें (केंद्रशासित प्रदेश और पूर्वोत्तर राज्यों के अलावा जहाँ योगदान 10% होगा) इस अनुदान में 20% हिस्सा देंगी।
  • योजना के पूर्व चरण:
    • चरण 1 को वर्ष 2017 में लॉन्च किया गया था, जिसका उद्देश्य देश में अनुपयोगी और असेवित हवाईअड्डे को शुरू करना था।
    • चरण 2 को वर्ष 2018 में लॉन्च किया गया था, जिसका उद्देश्य देश के अधिक दूरस्थ और दुर्गम हिस्सों में हवाई संपर्क का विस्तार करना था।
    • चरण 3 को नवंबर 2018 में लॉन्च किया गया था, जिसमें देश के पहाड़ी और दूरदराज़ के क्षेत्रों में हवाई संपर्क बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित किया गया था।
    • उड़ान योजना का चरण 4 दिसंबर 2019 में शुरू किया गया था, जिसमें द्वीपों और देश के अन्य दूरस्थ क्षेत्रों को जोड़ने पर ध्यान केंद्रित किया गया था।
  • उड़ान 5.0 के प्रमुख बिंदु:
    • यह श्रेणी-2 (20-80 सीट) और श्रेणी-3 (>80 सीट) एयरक्राफ्ट पर केंद्रित है।
    • इसमें यान की उड़ान के आरंभ और गंतव्य के बीच की दूरी पर कोई प्रतिबंध नहीं है।
    • प्रदान किये जाने वाले VGF को प्राथमिकता और गैर-प्राथमिकता वाले दोनों क्षेत्रों के लिये 600 किमी. की दूरी तक निर्धारित किया जाएगा; पहले यह दूरी 500 किमी. थी।
    • इसमें कोई पूर्व निर्धारित मार्ग निर्धारण नहीं किया जाएगा; एयरलाइंस द्वारा प्रस्तावित केवल नेटवर्क और व्यक्तिगत रूट प्रस्ताव पर विचार किया जाएगा।
    • एक ही मार्ग को एक ही एयरलाइन को एक से अधिक बार नहीं दिया जाएगा, चाहे वह अलग-अलग नेटवर्क में हो या एक ही नेटवर्क में।
    • यदि लगातार चार तिमाहियों के लिये औसत त्रैमासिक पैसेंजर लोड फैक्टर (PLF) 75% से अधिक है, तो किसी एयरलाइन को प्रदान किये गए संचालन का विशेषाधिकार वापस ले लिया जाएगा।
      • ऐसा किसी मार्ग पर एकाधिकार को रोकने के लिये किया गया है।
    • एयरलाइनों को मार्ग आवंटित किये जाने के 4 महीने के भीतर परिचालन शुरू करना होगा; पहले यह समयसीमा 6 महीने थी।
    • एक ऑपरेटर से दूसरे ऑपरेटर के रूट हेतु नोवेशन प्रक्रिया को सरल बनाने के साथ प्रोत्साहित किया गया है।
      • नोवेशन- मौजूदा अनुबंध को प्रतिस्थापन अनुबंध के साथ प्रतिस्थापित करने की प्रक्रिया है, जहाँ अनुबंध करने वाले पक्ष आम सहमति पर पहुँचते हैं।

उड़ान योजना की उपलब्धियाँ:

(नागरिक उड्डयन मंत्रालय द्वारा अगस्त 2022 में जारी आँकड़ों के अनुसार)

  • यह योजना टीयर-2 और टीयर-3 शहरों को किफायती हवाई किराये पर उचित मात्रा में हवाई संपर्क प्रदान करने में भी सक्षम रही है और इससे पहले यात्रा करने का तरीका बदल गया है।
  • परिचालित हवाई अड्डों की संख्या वर्ष 2014 के 74 से बढ़कर 141 हो गई है।
  • उड़ान योजना के तहत 58 हवाई अड्डे, 8 हेलीपोर्ट और 2 वाटर एयरोड्रोम सहित 68 अल्पसेवित/असेवित गंतव्यों को जोड़ा गया है।
  • उड़ान ने देश भर में 425 नए मार्गों की शुरुआत के साथ 29 से अधिक राज्यों/ केंद्रशासित प्रदेशों को हवाई संपर्क प्रदान किया है।
  • एक करोड़ से अधिक यात्रियों ने इस योजना का लाभ उठाया है।

 UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न (PYQ): 

प्रश्न. सार्वजनिक-निजी भागीदारी (पीपीपी) मॉडल के अधीन संयुक्त उपक्रमों के माध्यम से भारत में विमानपत्तनों के विकास का परीक्षण कीजिये। इस संबंध में प्राधिकरणों के समक्ष कौन सी चुनौतियाँ हैं? (2017)

स्रोत: पी.आई.बी.

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