रोज़गार कार्य समूह की तीसरी बैठक | 03 Jun 2023
प्रिलिम्स के लिये:भारत की G20 अध्यक्षता, आर्थिक सहयोग और विकास संगठन, गिग और प्लेटफॉर्म अर्थव्यवस्था, संयुक्त राष्ट्र मेन्स के लिये: |
चर्चा में क्यों?
भारत की G20 अध्यक्षता के तहत जिनेवा, स्विट्ज़रलैंड स्थित अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (International Labour Organization- ILO) मुख्यालय में रोज़गार कार्य समूह ( Employment Working Group- EWG) की तीसरी बैठक आयोजित की जा रही है।
- यह बैठक, जो कि ILO के वार्षिक अंतर्राष्ट्रीय श्रम सम्मेलन के साथ संरेखित है, G20 सदस्य देशों, अतिथि देशों एवं अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO), आर्थिक सहयोग और विकास संगठन (Organisation for Economic Cooperation and Development- OECD), अंतर्राष्ट्रीय सामाजिक सुरक्षा संघ ( International Social Security Association- ISSA), विश्व बैंक सहित अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के प्रतिनिधियों को एक साथ लाती है।
प्रमुख बिंदु
- प्राथमिक क्षेत्र:
- भारत की प्रेसीडेंसी में वर्ष 2023 में EWG के लिये तीन प्राथमिक क्षेत्रों की पहचान की गई है:
- वैश्विक कौशल अंतराल को संबोधित करना: यह क्षेत्र वैश्विक कार्यबल में प्रचलित कौशल अंतराल की पूर्ति करने और रोज़गार क्षमता बढ़ाने की रणनीति विकसित करने पर केंद्रित है।
- गिग, प्लेटफॉर्म इकॉनमी और सामाजिक सुरक्षा: कार्य की विकसित प्रकृति को देखते हुए गिग और प्लेटफॉर्म इकॉनमी कामगारों के लिये सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करने पर केंद्रित है।
- गिग और प्लेटफॉर्म इकॉनमी एक आधुनिक कार्य व्यवस्था को संदर्भित करती है, जहाँ लोग डिजिटल प्लेटफॉर्म या एप के माध्यम से अल्पकालिक, स्वतंत्र या मांग आधारित (ऑन-डिमांड) कार्य करते हैं।
- इसकी विशेषता कार्य का अस्थायी और लचीलापन है, जो ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के माध्यम से सुविधा प्रदान करता है और ग्राहकों को सेवा प्रदाताओं (गिग कामगारों के रूप में) को जोड़ता है।
- सामाजिक सुरक्षा का स्थायी वित्तपोषण: यह क्षेत्र सामाजिक सुरक्षा पहलों का समर्थन करने और श्रमिकों के लिये सुरक्षा जाल प्रदान करने हेतु स्थायी वित्तपोषण मॉडल के महत्त्व पर बल देता है
- भारत की प्रेसीडेंसी में वर्ष 2023 में EWG के लिये तीन प्राथमिक क्षेत्रों की पहचान की गई है:
- बैठक के चरण:
- EWG बैठक भारत के विभिन्न शहरों में चार अलग-अलग चरणों में आयोजित की गई।
- पहला चरण फरवरी 2023 में जोधपुर, राजस्थान में आयोजित किया गया था।
- दूसरा चरण अप्रैल 2023 में गुवाहाटी, असम में आयोजित किया गया।
- तीसरा चरण जिनेवा में 31 मई से 2 जून 2023 तक आयोजित किया जा रहा है।
- चौथा और अंतिम चरण जुलाई 2023 में इंदौर, मध्य प्रदेश में आयोजित किया जाएगा।
- EWG बैठक भारत के विभिन्न शहरों में चार अलग-अलग चरणों में आयोजित की गई।
रोज़गार कार्य समूह:
- परिचय:
- रोज़गार कार्य समूह (EWG) G20 ढाँचे के भीतर स्थापित एक फोरम है जो रोज़गार, श्रम बाज़ारों और सामाजिक नीतियों से संबंधित मुद्दों का समाधान करता है।
- यह चर्चाओं में शामिल होने, अनुभव साझा करने और रोज़गार संबंधी मामलों पर नीतिगत सिफारिशों के लिये G20 सदस्य देशों तथा संबंधित अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के लिये एक मंच के रूप में कार्य करता है।
- उद्देश्य:
- EWG का मुख्य उद्देश्य रोज़गार सृजन को बढ़ावा देकर श्रम बाज़ार के परिणामों में सुधार करना तथा श्रमिकों के लिये सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करके समावेशी और सतत् आर्थिक विकास को बढ़ावा देना है।
अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन:
- परिचय:
- ILO श्रम और रोज़गार मंत्रालय के अंतर्राष्ट्रीय ज्ञान भागीदारों में से एक है जो EWG को तकनीकी विशेषज्ञता प्रदान करता है।
- ILO संयुक्त राष्ट्र की एक एजेंसी है जिसका कार्य अंतर्राष्ट्रीय श्रम मानकों को स्थापित करके सामाजिक और आर्थिक न्याय को आगे बढ़ाना है।
- राष्ट्र संघ के तहत अक्तूबर 1919 (वर्साय की संधि) में स्थापित यह संयुक्त राष्ट्र की पहली और सबसे पुरानी विशेष एजेंसी है।
- सदस्य:
- ILO की एक त्रिपक्षीय संरचना है जो अपने 187 सदस्य राज्यों से सरकारों, नियोक्ताओं और श्रमिकों के प्रतिनिधियों को एक साथ लाती है।
- भारत अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन का संस्थापक सदस्य है।
- ILO की एक त्रिपक्षीय संरचना है जो अपने 187 सदस्य राज्यों से सरकारों, नियोक्ताओं और श्रमिकों के प्रतिनिधियों को एक साथ लाती है।
- अंतर्राष्ट्रीय श्रम सम्मेलन:
- ILO जिनेवा में एक वार्षिक अंतर्राष्ट्रीय श्रम सम्मेलन भी आयोजित करता है जो अंतर्राष्ट्रीय श्रम मानकों और ILO की व्यापक नीतियों को निर्धारित करता है।
- इसे अक्सर श्रम की अंतर्राष्ट्रीय संसद के रूप में जाना जाता है।
- ILO जिनेवा में एक वार्षिक अंतर्राष्ट्रीय श्रम सम्मेलन भी आयोजित करता है जो अंतर्राष्ट्रीय श्रम मानकों और ILO की व्यापक नीतियों को निर्धारित करता है।
- कार्रवाई के साधन:
- ILO में कार्रवाई का प्रमुख साधन सम्मेलनों और सिफारिशों के रूप में अंतर्राष्ट्रीय श्रम मानकों की स्थापना की गई है।
- सम्मेलन अंतर्राष्ट्रीय संधियाँ हैं और वे उपकरण हैं, जो उन देशों पर कानूनी रूप से बाध्यकारी दायित्व बनाते हैं जो उनकी पुष्टि करते हैं।
- इनकी सिफारिशें गैर-बाध्यकारी हैं और राष्ट्रीय नीतियों एवं कार्यों हेतु दिशा-निर्देश निर्धारित करती हैं।
- ILO में कार्रवाई का प्रमुख साधन सम्मेलनों और सिफारिशों के रूप में अंतर्राष्ट्रीय श्रम मानकों की स्थापना की गई है।
- उपलब्धियाँ/कार्य:
- 1969 में नोबेल शांति पुरस्कार प्राप्त किया।
- वर्गों के बीच शांति में सुधार के लिये कार्य।
- श्रमिकों के लिये सभ्य काम और न्याय सुनिश्चित करना।
- अन्य विकासशील राष्ट्रों को तकनीकी सहायता प्रदान करना।
- 1969 में नोबेल शांति पुरस्कार प्राप्त किया।
- ILO द्वारा जारी प्रमुख रिपोर्ट:
UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्नप्रश्न. अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन के कन्वेंशन 138 और 182 (2018) से संबंधित हैं: (a) बाल श्रम उत्तर: (a) |