सतत् विकास लक्ष्य भारत सूचकांक - 2018 | 22 Dec 2018
संदर्भ
हाल ही में नीति आयोग ने सतत् विकास लक्ष्य भारत सूचकांक– 2018 जारी किया है। यह सूचकांक सतत् विकास लक्ष्य 2030 के संदर्भ में राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों की प्रगति दर्शाता है। गौर करने वाली बात यह है कि सितंबर 2015 में संयुक्त राष्ट्र सतत् विकास सम्मलेन के दौरान 193 देशों द्वारा अपनाए गए सतत् विकास लक्ष्यों के मद्देनज़र यह सूची तैयार की गई है।
पृष्ठभूमि
- सतत् विकास लक्ष्य 1 जनवरी, 2016 से प्रभाव में आया और इसके लक्ष्यों की प्राप्ति हेतु वर्ष 2030 को समय-सीमा के रूप में निर्धारित किया गया।
संयुक्त सहयोग से किया गया है तैयार
- सतत् विकास लक्ष्य भारत सूचकांक (Sustainable Development Goals India Index) को सांख्यिकी व कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय ने ग्लोबल ग्रीन ग्रोथ इंस्टीट्यूट (Global Green Growth Institute) और संयुक्त राष्ट्र (भारत) के सहयोग से तैयार किया है।
नीति आयोग की है अहम भूमिका
- नीति आयोग दोहरी ज़िम्मेदारी निभाता है। आयोग के पास एक तरफ देश में SDG के कार्यान्वयन की निगरानी की ज़िम्मेदारी है वहीं दूसरी तरफ राज्यों व केंद्रशासित प्रदेशों के बीच प्रतिस्पर्द्धात्मक और सहयोगी संघवाद को प्रोत्साहित करने की भी ज़िम्मेदारी है।
- SDG भारत सूची इन दोनों ज़िम्मेदारियों के बीच एक सेतु का काम करती है। SDG को प्रधानमंत्री के ‘सबका साथ-सबका विकास’ कार्यक्रम से भी जोड़कर देखा जा सकता है। इस कार्यक्रम में वैश्विक SDG के पाँच पी (P) को शामिल किया गया है - लोग (People), पृथ्वी (Planet), समृद्धि (Prosperity), सहयोग (Partnership) और शांति (Partnership)।
पृष्ठभूमि
- विश्व अभी SDG युग के तीसरे वर्ष (2016 में शुरुआत के बाद) में है। SDG महत्त्वकांक्षी वैश्विक विकास लक्ष्य है जो सार्वभौमिक जन कल्याण से संबंधित है। ये लक्ष्य विभिन्न सामाजिक-आर्थिक, सांस्कृतिक और भौगोलिक पृष्ठभूमि वाले लोगों से संबंधित है तथा इनमें विकास के आर्थिक, सामाजिक एवं पर्यावरणीय आयामों को शामिल किया गया हैं।
- भारत के राष्ट्रीय विकास एजेंडे की झलक SDG में दिखाई पड़ती है। SDG के क्षेत्र में भारत की प्रगति संपूर्ण विश्व के लिये महत्त्वपूर्ण है क्योंकि भारत में विश्व की 17 प्रतिशत आबादी निवास करती है।
महत्त्वपूर्ण बिंदु
- SDG भारत सूची 62 प्राथमिक संकेतकों पर आधारित है। इन संकेतकों का चयन नीति आयोग ने किया है। इस सूची में 17 SDG में से 13 के आँकड़ों को शामिल किया गया है।
- SDG 12, 13 और 14 का मापन संभव नहीं हो सका क्योंकि इनसे संबंधित आँकड़े राज्य/केंद्रशासित प्रदेश द्वारा उपलब्ध नहीं कराए जा सके थे। SDG 17 पर विचार नहीं किया गया है क्योंकि यह अंतर्राष्ट्रीय सहयोग पर आधारित है।
- कुल 13 SDG के संदर्भ में प्रत्येक राज्य और केंद्र शासित प्रदेश के प्रदर्शन को 0-100 के पैमाने पर मापा गया है। यह राज्यों के औसत प्रदर्शन को प्रदर्शित करता है।
- यदि किसी राज्य/केंद्र शासित प्रदेश ने 100 अंक प्राप्त किया है तो इसका अर्थ है कि राज्य ने 2030 के राष्ट्रीय लक्ष्यों को हासिल कर लिया है।
- SDG भारत सूची के वर्गीकरण का आधार:
• आकांक्षी : 0-49
• अच्छा प्रदर्शन : 50-64
• अग्रणी : 65-99
• लक्ष्य प्राप्तकर्त्ता : 100
निष्कर्ष:
स्वच्छ पेयजल और स्वच्छता उपलब्ध कराने, असमानता कम करने तथा पर्वतीय पारिस्थितिकी को संरक्षित करने में हिमाचल प्रदेश ने उच्च स्थान प्राप्त किया है।
- अच्छा स्वास्थ्य प्रदान करने, भूखमरी कम करने, लैंगिक समानता हासिल करने तथा गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने में केरल ने सर्वोच्च स्थान प्राप्त किया है।
- स्वच्छ पेयजल व स्वच्छता उपलब्ध कराने, किफायती व स्वच्छ ऊर्जा प्रदान करने, आर्थिक विकास करने और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराने में चंडीगढ़ ने अग्रणी स्थान प्राप्त किया है।