‘वन नेशन वन फास्टैग’ स्कीम | 18 Oct 2019
प्रीलिम्स के लिये:
वन नेशन वन फास्टैग (One Nation One FASTags) स्कीम
मेन्स के लिये:
परिवहन के क्षेत्र में सरकार के प्रयास तथा नीतियाँ
चर्चा में क्यों?
सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने 'वन नेशन वन फास्टैग' (One Nation One FASTags) स्कीम की शुरुआत की। यह स्कीम 1 दिसंबर, 2019 से संपूर्ण देश में लागू होगी।
प्रमुख बिंदु:
- इस योजना का उद्देश्य टोल के संग्रह को डिजिटल रूप से एकीकृत करना तथा संपूर्ण भारत में वाहनों की निर्बाध गतिशीलता को सुनिश्चित करना है।
- संपूर्ण देश में राष्ट्रीय और राज्य राजमार्गों पर रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (Radio Frequency Identification- RFID) टैग वाली नई कारों में इस तकनीक के माध्यम से लाभ उठाया जा सकता है।
- इसके माध्यम से टोल प्लाज़ा पर यातायात का मुक्त प्रवाह सुनिश्चित होगा और समय व ईंधन की बचत होगी।
फास्टैग (FASTag) क्या है?
- FASTags वे स्टीकर हैं जो वाहनों के विंडस्क्रीन पर चिपकाए जाते हैं।
- इसमें RFID लगा होता है जिससे टोल गेटों पर बिना रुके डिजिटल रूप से भुगतान किया जा सकता है।
- ये टैग बैंक खातों और अन्य भुगतान विधियों से जुड़े होते हैं।
यह किस प्रकार काम करता है?
- जैसे ही एक कार एक टोल प्लाज़ा को पार करती है, वैसे ही सेंसर स्क्रीन पर लगा हुआ FASTag इसकी पहचान (Sense) कर लेता है तथा राशि स्वचालित रूप से काट ली जाती है एवं इससे संबंधित सूचना पंजीकृत मोबाइल फोन नंबर पर भेज दी जाती है।
- FASTag को रिचार्ज करने के लिये क्रेडिट कार्ड, डेबिट कार्ड, आरटीजीएस और नेट बैंकिंग का प्रयोग किया जा सकता है।
- एक FASTag पाँच साल के लिये वैध होता है तथा इसे आवश्यकतानुसार रिचार्ज कराना होगा।