नया इंटरनेट आधारित सिस्टम ‘हॉर्टिनेट’ | 02 Sep 2017
चर्चा में क्यों?
भारत से यूरोपीय संघ (European Union) को निर्यात किये जाने वाले अंगूरों, अनारों और सब्जियों के फार्मों के पंजीकरण, परीक्षण और प्रमाणन हेतु एक नया इंटरनेट आधारित सिस्टम ‘हॉर्टिनेट’ (Hortinet - an integrated traceability system) विकसित किया गया है। इसके अंतर्गत हितधारकों को इंटरनेट आधारित इलेक्ट्रॉनिक सेवाएँ प्रदान की जाएंगी।
प्रमुख बिंदु
- किसानों के हित में मोबाइल प्रौद्योगिकी की क्षमता का अधिक से अधिक दोहन करने के लिये एक ऐसी मोबाइल एप तैयार की गई है, जिससे किसान ऑनलाइन अपने खेतों का पंजीकरण कर सकते हैं।
- इस एप की सहायता से किसान राज्य सरकारों द्वारा उनके आवेदनों के संबंध में की जा रही कार्यवाहियों की वास्तविक स्थिति जानने तथा अधिकृत प्रयोगशालाओं द्वारा कृषि नमूनों की जाँच की स्थिति पर नज़र रख सकते हैं।
- इस नए मोबाइल एप की सहायता से राज्य बागवानी/कृषि विभाग किसानों, उनके खेतों की लोकेशन, उत्पादों और निरीक्षण संबंधी सूचनाओं जैसे- निरीक्षण की तारीख, किसानों के नाम तथा खेत संबंधी आवश्यक सूचनाओं के विषय में बारीक से बारीक जानकारियों को संग्रहित कर सकेंगे।
इस मोबाइल एप की प्रमुख विशेषताएँ क्या-क्या हैं?
→ ऑनलाइन फार्म पंजीकरण हेतु आवेदन तथा आवेदन की वास्तविक स्थिति की जानकारी।
→ राज्य बागवानी/कृषि विभाग द्वारा किसानों, फार्मों तथा उत्पादों का ऑन-लाइन पंजीकरण।
→ राज्य बागवानी/कृषि विभाग द्वारा किसानों के आवेदनों के संबंध में ऑन-लाइन अनुमोदन तथा प्रसंस्करण।
→ इस एप के माध्यम से पंजीकृत खेतों की भौगोलिक स्थिति पर नज़र रखना।
→ ए.पी.ई.डी.ए. (Agricultural and Processed Food Products Export Development Authority - APEDA) अधिकृत प्रयोगशालाओं द्वारा नमूना संग्रह इत्यादि।
- इस मोबाइल एप के लोगो (App logo) में तीन बिंदुओं को दर्शाया गया है, ये तीन बिंदु किसान, राज्य सरकार एवं कृषि प्रयोगशाला को प्रदर्शित करते है। वस्तुतः ये तीनों ही इस किसान कनेक्ट एप (Farmer Connect App) का प्रमुख सार भी है।
- इस एप को हिंदी एवं अंग्रेज़ी के अलावा मराठी भाषा में भी शुरू किया गया है। स्पष्ट रूप से इसे उपयोगकर्त्ता के अनुकूल बनाने की कोशिश की गई है।
भारत में कृषि की स्थिति
- वर्तमान में भारत के 435 अरब अमरीकी डॉलर के कुल व्यापारिक निर्यात में कृषि निर्यात की कीमत 34 अरब अमरीकी डॉलर है।
- कृषि निर्यात में कमी का प्रमुख कारण हमारी दिनोंदिन बढ़ती जनसंख्या है, जिसके कारण कृषिगत उत्पादों के अधिकांश भाग का उपभोग तो घरेलू रूप में ही कर लिया जाता है।
- यद्यपि संपूर्ण विश्व में हमारी कृषि भागीदारी केवल 2.2 फीसदी की ही है, तथापि हम वैश्विक कृषि व्यापार में शीर्ष 10 देशों में से एक हैं।
निष्कर्ष
ट्रेसेबिलिटी सॉफ्टवेयर के उपयोग से भारतीय कृषि व्यापार को बहुत लाभ मिला है। वस्तुतः यह सिस्टम यह सुनिश्चित करने में सहायता प्रदान करता है कि आयातक देशों को उनकी पसंद की गुणवत्ता और मानकों के अनुरूप ही उत्पाद प्राप्त हों। कृषि क्षेत्र में उत्पादकता एवं गुणवत्ता को बढ़ावा देने के लिये इस क्षेत्र में प्रौद्योगिकी के प्रयोग को प्रोत्साहन दिया जाना चाहिये, ताकि कृषि संबंधी किसी भी समस्या का समय रहते समाधान किया जा सके।