नोएडा शाखा पर IAS GS फाउंडेशन का नया बैच 9 दिसंबर से शुरू:   अभी कॉल करें
ध्यान दें:

डेली अपडेट्स


अंतर्राष्ट्रीय संबंध

निर्दिष्ट बैंक नोट (देनदारी दायित्व समाप्ति) कानून, 2017

  • 02 Mar 2017
  • 3 min read

सन्दर्भ

सरकार ने नोटबंदी के पश्चात अमान्य हो चुके नोटों को रखने, उनके बारे में गलत सूचना देने और उनके इस्तेमाल को पूरी तरह से प्रतिबंधित करने के लिए एक नया क़ानून निर्मित किया है | इस क़ानून को ‘निर्दिष्ट बैंक नोट (देनदारी दायित्व समाप्ति) कानून, 2017’ के नाम से पारिभाषित किया गया है |

प्रमुख बिंदु

  • संसद ने हाल ही में निर्दिष्ट बैंक नोट (देनदारी दायित्व समाप्ति) कानून, 2017 पारित किया है।

  • ध्यातव्य है कि राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने 27 फरवरी 2017 को इस कानून पर दस्तखत किये थे ।

  • इसके माध्यम से सरकार ने अमान्य हो चुके पुराने 10 से अधिक नोट रखने वालों को दंडित करने के प्रावधान वाले कानून को अधिसूचित या है ।

  • विदित हो कि इस कानून के तहत ऐसे लोगों पर न्यूनतम 10,000 रुपये के जुर्माने का प्रावधान किया गया है।

  • इस कानून को पारित करने का उद्देश्य 500 और 1,000 रुपये के बंद किए जा चुके नोटों का इस्तेमाल पूरी तरह निषेध करना एवं इनके प्रयोग के माध्यम से समानान्तर अर्थव्यवस्था चलाने की आशंका को सर्वथा समाप्त करना है।

  • उल्लेखनीय है कि 8 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा इन नोटों को बैन कर दिए जाने के बाद इन नोटों को बैंकों में जमा करवाने की अंतिम तिथि 30 दिसंबर निर्धारित की गई थी | इसके बाद 31 मार्च तक इन नोटों को रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया में जमा करने का प्रावधान किया गया था |

  • ‘निर्दिष्ट बैंक नोट (देनदारी दायित्व समाप्ति) कानून, 2017’ के अस्तित्व में आने के साथ ही यदि किसी व्यक्ति के पास ऐसे 10 से ज्यादा पुराने नोट पाए जाते हैं, तो उसे अपराध माना जाएगा । अध्ययन अथवा शोध करने वालों के लिए यह सीमा 25 नोट निर्धारित कि गई है यदि उनके पास इससे अधिक नोट पाए जाते हैं तो इसे अपराध की श्रेणी में रखा जायेगा |

  • विदित हो कि इस स्थिति में ऐसे व्यक्ति पर 10,000 रुपये या जितने नोट उसके पास मिलते हैं उसका पाँच गुना अथवा इनमे से जो भी अधिक हो, उतना जुर्माना लगाया जाएगा ।

  • इसमें यह भी प्रावधान किया गया है कि यदि नोटबंदी की अवधि (9 नवंबर से 30 दिसंबर, 2016) के दौरान कोई व्यक्ति विदेश में था और इस बारे में वह कोई गलत घोषणा करता है तो उस पर कम से कम 50,000 रुपये तक जुर्माना लगाया जा सकता है।इस कानून के अस्तित्व में आने के बाद इन नोटों पर सरकार और रिजर्व बैंक का देनदारी दायित्व भी समाप्त हो गया है।

close
एसएमएस अलर्ट
Share Page
images-2
images-2
× Snow