हवाई यात्रा के दौरान यात्रियों के व्यवहार के संबंध में नई नियमावली ज़ारी की गई | 11 Sep 2017
चर्चा में क्यों?
नागरिक उड्डयन मंत्रालय (Ministry of Civil Aviation) द्वारा हवाई यात्रा के दौरान यात्रियों द्वारा अभद्र और परेशानी पैदा करने वाले व्यवहार पर नियंत्रण हेतु एक नियमावली ज़ारी की गई। नए नियमों के तहत ऐसे अभद्र यात्रियों की एक राष्ट्रव्यापी सूची तैयार की जाएगी।
मुख्य बिंदु
- डी.जी.सी.ए. द्वारा नागर विमानन आवश्यकता (Civil Aviation Requirement) के प्रासंगिक नियमों में बदलाव किया गया है, ताकि हवाई यात्रा के दौरान अभद्रता करने वाले यात्रियों से निपटा जा सके।
- यह संशोधन 1963 के टोक्यो समझौते (Tokyo Convention 1963) के प्रावधानों पर आधारित है। ये नियम विदेशी एयरलाइन्स पर भी लागू होंगे।
- इस तरह की सूची बनाने वाला भारत दुनिया का पहला देश है।
- इस सूची के निर्माण का विचार केवल हवाई सुरक्षा को मद्देनज़र रखते हुए नहीं लिया गया है, बल्कि यात्रियों और विमान कर्मियों की सुरक्षा इसकी प्रमुख चिंता का विषय है।
- इसके अनुसार, हवाई अड्डों पर यात्रियों के अभद्र व्यवहार से निपटना, प्रचलित दण्ड कानूनों के अनुसार सुरक्षा एजेंसियों की ज़िम्मेदारी होगी।
- संशोधित नियम सभी भारतीय एयरलाइनों पर लागू किये जाएंगे, जिसमें निर्धारित एवं गैर-निर्धारित एवं ढुलाई सेवाओं को शामिल किया गया है। यह भारतीय एवं अंतर्राष्ट्रीय यात्रियों दोनों के मामलों में लागू होगा।
नई नियमावली
- नये नियमों में अभद्र व्यवहार को निम्नलिखित तीन स्तरों पर परिभाषित किया गया है-
→ पहले स्तर पर मौखिक अभद्रता को शामिल किया गया है, जिसमें 3 महीने तक के प्रतिबंध का प्रावधान है।
→ दूसरे स्तर पर शारीरिक रूप से की गई अभद्रता को शामिल किया गया है, जिसके लिये 6 महीने का प्रतिबंध लगाया जा सकता है।
→ तीसरे स्तर पर जीवन को जोखिम में डालने वाली अभद्रता को शामिल किया गया है, जिसके लिये कम से कम 2 वर्ष का प्रतिबंध का प्रावधान किया गया है।
- अभद्रता की शिकायत पायलट-इन-कमाण्ड द्वारा दर्ज़ की जाएगी, जिसकी जाँच विमान कंपनी द्वारा गठित एक आंतरिक समिति (internal committee) द्वारा की जाएगी।
- इस समिति के अध्यक्ष एक सेवानिवृत्त ज़िला एवं सत्र न्यायाधीश होंगे। इसमें विमान कंपनियों, यात्री संगठनों, उपभोक्ता संगठनों के प्रतिनिधि और ज़िला उपभोक्ता परिषद (Consumer Dispute Redressal Forum) के सेवानिवृत्त अधिकारी भी शामिल होंगे।
- नए नियमों के अनुसार, इस समिति द्वारा 30 दिनों के भीतर फैसला किया जाएगा।
- जाँच की अवधि के दौरान संबंधित एयरलाइन उस यात्री के उड़ान भरने पर रोक लगा सकती है। इसके अलावा अभद्रता की पुनरावृत्ति पर दण्ड की अवधि पहले से दुगुनी होगी। ह सूची डी.जी.सी.ए. की आधिकारिक वेबसाइट पर उपलब्ध होगी।
- इस सूची में दो तरह के यात्रियों को शामिल किया गया है, पहले वे जिन्हें अवधि विशेष के लिये प्रतिबंधित किया गया है और दूसरे वे जिन्हें गृह मंत्रालय द्वारा राष्ट्रीय सुरक्षा के लिये खतरा माना गया है।
- पहली सूची को वेबसाइट पर ज़ारी किया जाएगा, जबकि दूसरी सूची को वेबसाइट पर ज़ारी नहीं किया जाएगा।
प्रतिबंध के खिलाफ अपील का प्रावधान
- संशोधित नियमों में प्रतिबंध के खिलाफ अपील का भी प्रावधान किया गया है।
- पीड़ित व्यक्ति (जिसमें गृह मंत्रालय से प्रतिबंधित व्यक्ति शामिल नहीं हैं) द्वारा प्रतिबंध के खिलाफ (60 दिनों के अंदर) अपीलीय अधिकरण के सामने अपील की जा सकती है।