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विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

कार्बन नैनोफ्लोरेट्स

  • 01 Nov 2023
  • 5 min read

प्रिलिम्स के लिये:

कार्बन नैनोफ्लोरेट्स, कार्बन फुटप्रिंट

मेन्स के लिये:

विज्ञान और प्रौद्योगिकी-विकास एवं उनके अनुप्रयोग तथा दैनिक जीवन में प्रभाव, विज्ञान और प्रौद्योगिकी में भारतीयों की उपलब्धियाँ

स्रोत: द हिंदू

चर्चा में क्यों? 

हाल ही में IIT बॉम्बे के शोधकर्त्ताओं ने बेजोड़ दक्षता के साथ सूर्य के प्रकाश को गर्मी में परिवर्तित करने में सक्षम कार्बन नैनोफ्लोरेट बनाया है।

  • यह नवोन्मेषी विकास कार्बन फुटप्रिंट को कम करते हुए स्थायी ताप समाधानों में क्रांति लाने की क्षमता रखता है

कार्बन नैनोफ्लोरेट्स:

  • परिचय:
    • IIT बॉम्बे के शोधकर्त्ताओं द्वारा विकसित कार्बन नैनोफ्लोरेट्स 87% की प्रभावशाली प्रकाश अवशोषण दक्षता प्रदर्शित करता है।
    • वे पारंपरिक सौर-थर्मल सामग्रियों, जो कि आमतौर पर केवल दृश्य और पराबैंगनी प्रकाश को अवशोषित करते हैं, के बिल्कुल विपरीत अवरक्त, दृश्य प्रकाश तथा पराबैंगनी सहित सूर्य के प्रकाश की कई आवृत्तियों को अवशोषित कर सकते हैं।
  • कार्बन नैनोफ्लोरेट्स की डिज़ाइनिंग प्रक्रिया:
    • सिलिकॉन कण का एक विशेष रूप जिसे DFNS (डेंड्राइटिक फाइबरस नैनोसिलिका) कहा जाता है, भट्टी में गर्म किया जाता है।
    • चैंबर में एसिटिलीन गैस का प्रयोग कार्बन जमाव को सुविधाजनक बनाता है, जिससे यह काला हो जाता है।
    • उसके बाद काले पाउडर को एकत्र कर एक शक्तिशाली रसायन में मिश्रित किया जाता है जो DFNS को विघटित कर देता है, जिससे कार्बन कण शेष बचते हैं। इसके परिणामस्वरूप शंकु के आकार के गड्ढों वाले गोलाकार कार्बन कण बनते हैं, जो माइक्रोस्कोप से देखने पर गेंदे के फूल के समान कार्बन नैनोफ्लोरेट बनाते हैं।

  • विशिष्ट संरचना की भूमिका:
    • कार्बन शंकुओं से बनी नैनोफ्लोरेट्स की संरचना, प्रकाश प्रतिबिंब को कम करती है और अधिकतम आंतरिक अवशोषण सुनिश्चित करती है।
    • यह विशिष्ट डिज़ाइन सूर्य के प्रकाश को अभिग्रहण कर इसे बनाए रखता है तथा इस सौर ऊर्जा को तापीय ऊर्जा में परिवर्तित करता है।

  • न्यूनतम ताप अपव्यय:
    • नैनोफ्लोरेट्स की संरचना में लंबी दूरी की अव्यवस्था के कारण पदार्थ में उत्पन्न उष्मा का स्थानांतरण अधिक दूरी तक नहीं हो  पाता है।
      • यह विशेषता पर्यावरण में ताप के अपव्यय को कम करती है, जिससे नैनोफ्लोरेट्स उत्पन्न तापीय ऊर्जा को प्रभावी ढंग से बनाए रखने एवं उपयोग करने की अनुमति देता है।

कार्बन नैनोफ्लोरेट्स के अनुप्रयोग और वाणिज्यिक क्षमताएँ:

  • जल का पर्याप्त तापन:
    • कार्बन नैनोफ्लोरेट्स की एक वर्ग मीटर की कोटिंग एक घंटे के भीतर लगभग 5 लीटर जल को वाष्पित कर सकती है, जो वाणिज्यिक सौर स्थिरांक के प्रदर्शन को पार कर जाती है।
      • कार्बन नैनोफ्लोरेट जल तापन अनुप्रयोगों के लिये आदर्श हैं, जो एक संधारणीय और लागत प्रभावी समाधान प्रदान करते हैं तथा जीवाश्म ईंधन पर निर्भरता को कम करता है।
      • नैनोफ्लोरेट को कागज़, धातु और टेराकोटा मिट्टी जैसी विभिन्न सतहों पर लगाया जा सकता है, जो उन्हें विभिन्न अनुप्रयोगों के लिये सुग्राह्य बनाता है।
  • पर्यावरण अनुकूल तापन:
    •  नैनोफ्लोरेट कोटिंग्स का उपयोग कर उपयोगकर्ता पर्यावरण के अनुकूल तरीके से अपने घरों को गर्म करने के लिये सौर ऊर्जा का उपयोग कर सकते हैं, जिससे उनके कार्बन पदचिह्न को कम किया जा सकता है।
  • स्थिरता और दीर्घायु:
    • कोटेड नैनोफ्लोरेट न्यूनतम आठ वर्षों के जीवनकाल के साथ असाधारण स्थिरता प्रदर्शित करते हैं।
      • शोधकर्त्ता विभिन्न पर्यावरणीय परिस्थितियों में उनके स्थायित्व का निरंतर आकलन कर रहे हैं।
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