प्रीलिम्स फैक्ट्स: 18 अप्रैल, 2019
अलेक्जेंड्रिन पैराकेट्स
राजस्थान के झालावाड़ जिला प्रशासन ने 2019 के लोकसभा चुनावों के लिये अलेक्जेंड्रिन पैराकेट्स को मतदाता जागरूकता कार्यक्रम का शुभंकर बनाया है।
- अलेक्जेंड्रिन पैराकेट्स तोते की एक प्रजाति है जो मानव भाषाओँ की हुबहू नकल कर सकता है।
- ये अंडे देने के लिये पेड़ों की सबसे ऊँची डालियों पर घोंसला बनाते हैं।
- मानव भाषाओं की हुबहू नकल उतारने के कारण इनकी मांग उच्च रहती है एवं इनका अवैध व्यापार भी होता है।
- हाल ही में पंजाब के तीन व्यक्तियों को जामा मस्जिद, शास्त्री पार्क और राजधानी के अन्य क्षेत्रों में 150 से अधिक अलेक्जेंड्रिन पैराकेट्स को बेचने की कोशिश करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है।
- ज्ञातव्य है कि अलेक्जेंड्रिन पैराकेट्स इंटरनेशनल यूनियन फॉर कंज़र्वेशन ऑफ नेचर (IUCN) की रेड लिस्ट में ‘निकट संकटग्रस्त’ (Near Threatened) की श्रेणी में शामिल है।
- यह वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 की अनुसूची 1 (B) के तहत संरक्षित है। यह दक्षिण और दक्षिण पूर्व एशिया का मूल निवासी है।
पी-नोट्स
मार्च के अंत तक घरेलू पूंजी बाज़ार में पी-नोट्स के माध्यम से निवेश बढ़ गया है।
- पी-नोट्स पंजीकृत विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (Foreign Portfolio Investors- FPI) द्वारा ऐसे विदेशी निवेशकों को जारी किये जाते हैं जो सीधे पंजीकरण किये बिना भारतीय शेयर बाज़ार का हिस्सा बनना चाहते हैं।
- सेबी के नवीनतम डेटा के अनुसार, भारतीय बाज़ार में इक्विटी, ऋण और डेरिवेटिव सभी प्रकार के पी-नोट्स निवेश का कुल मूल्य, जो फरवरी के अंत में 73,428 करोड़ रुपए था, मार्च के अंत तक बढ़कर 78,110 करोड़ रुपए हो गया।
- मार्च-अंत तक किये गए कुल पी-नोट्स निवेश में से 56,288 करोड़ रुपए इक्विटी में, 20,999 करोड़ रुपए ऋण और 119 करोड़ रुपए डेरिवेटिव मार्केट्स में थे।
क्या हैं पी-नोट्स?
- पी-नोट्स को पार्टिसिपेट्री नोट्स भी कहा जाता है। इसके ज़रिये विदेशी निवेशक अप्रत्यक्ष रूप में भारतीय शेयर बाज़ार में निवेश करते हैं। भारतीय बाज़ार में किया जाने वाला यह निवेश सेबी के पास पंजीकृत विदेशी ब्रोक्रेज़ हाउस के ज़रिये किया जाता है।
- पी-नोट्स को विदेशी निवेशकों के लिये शेयर बाज़ार में निवेश करने का दस्तावेज़ भी कहा जाता है। पी-नोट्स का इस्तेमाल ‘हाई नेटवर्क इंडीविजुअल्स’ (एचएनआई), हेज फंडों एवं अन्य विदेशी संस्थानों के ज़रिये किया जाता है।
- दूसरे शब्दों में कहें तो, जो निवेशक सेबी के पास पंजीकरण करवाए बिना शेयर बाज़ार में पैसा लगाना चाहते हैं वे पी-नोट्स का इस्तेमाल करते हैं। क्योंकि, निवेशकों को भारतीय शेयर बाज़ार में पी-नोट्स के ज़रिये निवेश करने में सुविधा दी जाती रही है।
- निवेशकों को पी-नोट्स सेबी के पास पंजीकृत विदेशी ब्रोक्रेज़ हाउस ही जारी करता है। ऐसे में निवेशकों को निवेश के समय अलग से पहचान बताना और सेबी को पूरा ब्यौरा देना ज़रूरी नहीं होता है।
- विदित हो कि 1992 में सेबी ने भारतीय शेयर बाज़ार में पंजीकृत विदेशी ब्रोक्रेज़ हाउस को पी-नोट्स के ज़रिये निवेश करने की इज़ाज़त दी थी।
अभ्यास वरुण
भारत और फ्राँस अपने सबसे बड़े संयुक्त नौसैनिक अभ्यास ‘वरुण’ के लिये तैयार है।
- इसका आयोजन इस वर्ष मई के महीने में होने वाला हैं।
- दोनों देश क्रमश: मिग-29 के और राफेल-एम नौसैनिक लड़ाकू जेट विमानों के साथ अपने विमान वाहक आईएनएस विक्रमादित्य और एफएनएस चार्ल्स डी गॉल के साथ इस अभ्यास में भाग लेंगे।
- संयुक्त द्विपक्षीय नौसेन्य अभ्यास ‘वरुण’ की शुरूआत वर्ष 2000 में हुई थी।