प्रिलिम्स फैक्ट्स (05 Apr, 2021)



प्रिलिम्स फैक्ट : 05अप्रैल, 2021


वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर फोरम

(World Cities Culture Forum)

दिल्ली के मुख्यमंत्री, वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर फोरम (WCCF) में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे।

  • ज्ञात हो कि इस वर्ष के वार्षिक शिखर सम्मेलन की तिथि की घोषणा की जानी अभी शेष है।

प्रमुख बिंदु

  • स्थापना: WCCF की स्थापना वर्ष 2012 में लंदन में आठ शहरों के साथ की गई थी।
  • सदस्य शहर: वर्तमान में इस फोरम में कुल 43 भागीदार सदस्य शहर शामिल हैं।
    • भाग लेने वाले सदस्य शहरों में लंदन, हॉन्गकॉन्ग, एम्स्टर्डम, एडिनबर्ग, लिस्बन, सैन फ्रांसिस्को, शंघाई आदि शामिल हैं।
    • राजधानी दिल्ली को इस वर्ष आमंत्रित किया गया है हालाँकि अभी तक यह सदस्य शहरों का हिस्सा नहीं है।
  • भूमिका: यह सदस्य शहरों के नीति निर्माताओं को अनुसंधान और खुफिया सूचनाओं को साझा करने में सक्षम बनाता है और शहरों की समृद्धि में संस्कृति की महत्त्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करने का प्रयास करता है।
  • प्रबंधन: वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर फोरम की गतिविधियों का प्रबंधन ग्रेटर लंदन अथॉरिटी (लंदन की नगरपालिका सरकार) द्वारा एक विशेषज्ञ कंसल्टिंग फर्म-‘बीओपी कंसल्टिंग’ के माध्यम से प्किया जाता है।
    • ‘बीओपी कंसल्टिंग’ संस्कृति और रचनात्मकता के प्रभाव और महत्त्व को मापने के लिये तुलनात्मक शोध करती है और इसे फोरम के साथ साझा करती है, ताकि सदस्य साक्ष्य-आधारित नीतिगत निर्णय ले सकें।
  • वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर समिट: फोरम के सदस्य शहर थीम आधारित संगोष्ठी, क्षेत्रीय शिखर सम्मेलन और कार्यशालाओं सहित कार्यक्रमों के माध्यम से सहयोग करते हैं। ये आयोजन वार्षिक वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर समिट में शामिल होते हैं।
    • सदस्य शहरों द्वारा रोटेशन के आधार पर आयोजित इस अनूठी सभा से सदस्य शहरों के नेताओं को भविष्य के सतत् शहर के लिये एक आयोजन सिद्धांत के रूप में संस्कृति की भूमिका के बारे में विचारों और ज्ञान को साझा करने की अनुमति मिलती है।
    • इसमें सदस्य शहरों के सांस्कृतिक प्रमुखों द्वारा हिस्सा लिया जाता है।
    • वर्ष 2021 की थीम: ‘संस्कृति का भविष्य’।
  • वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर रिपोर्ट: दिल्ली वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर रिपोर्ट का भी हिस्सा होगी, जो कि शहरों की संस्कृति पर सबसे व्यापक वैश्विक डेटासेट है।
    • यह वर्ल्ड सिटीज़ कल्चर फोरम द्वारा प्रत्येक तीन वर्ष में एक बार प्रकाशित किया जाता है, जिसमें दुनिया भर के शहरों की अभिनव परियोजनाओं से संबंधित डेटा और विवरण शामिल होता है। अंतिम रिपोर्ट वर्ष 2018 में प्रकाशित हुई थी।

Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 05 अप्रैल, 2021

H1-B वीज़ा प्रतिबंध

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लागू किये गए वीज़ा प्रतिबंधों का विस्तार न करने का फैसला लिया है। बीते वर्ष जून माह में पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा अधिरोपित प्रतिबंध मुख्य रूप से H1-B वीज़ा पर केंद्रित थे, साथ ही इन प्रतिबंधों का कुछ प्रभाव L-1 वीज़ा पर भी पड़ा था। राष्ट्रपति ट्रंप द्वारा लागू किये गए इन प्रतिबंधों का प्राथमिक प्रभाव आतिथ्य उद्योग के श्रमिकों और अध्ययन के साथ-साथ कार्य कर रहे छात्रों पर देखा गया था। राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन और कोरोना वायरस महामारी के बीच राष्ट्रपति ट्रंप ने घोषणा करते हुए H1-B सहित कई अस्थायी या ‘गैर-आप्रवासी’ वीज़ा श्रेणियों के आवेदकों का अमेरिका में प्रवेश निलंबित कर दिया था। राष्ट्रपति ट्रंप ने यह तर्क दिया था कि इन वीज़ा कार्यक्रमों के कारण अमेरिकी श्रम बाज़ार पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। संयुक्त राज्य अमेरिका में रोज़गार के इच्छुक लोगों को H1-B वीज़ा प्राप्त करना आवश्यक होता है। H1-B वीज़ा वस्तुतः ‘इमीग्रेशन एंड नेशनलिटी एक्ट’ की धारा 101(a) और 15(h) के अंतर्गत संयुक्त राज्य अमेरिका में रोज़गार के इच्छुक गैर-अप्रवासी नागरिकों को दिया जाने वाला वीज़ा है। यह अमेरिकी नियोक्ताओं को विशेषज्ञतापूर्ण व्यवसायों में अस्थायी तौर पर विदेशी कर्मचारियों को नियुक्त करने की अनुमति देता है।

राष्ट्रीय समुद्री दिवस

भारत में प्रत्येक वर्ष 5 अप्रैल को ‘राष्ट्रीय समुद्री दिवस’ मनाया जाता है। इस दिवस का प्राथमिक उद्देश्य सुरक्षित और पर्यावरण की दृष्टि से अनुकूल अंतर-महाद्वीपीय वाणिज्य एवं व्यापार तथा वैश्विक अर्थव्यवस्था में समुद्री पारिस्थितिकी तंत्र के महत्त्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना है। यह दिवस देश के समुद्री क्षेत्र की रक्षा और संरक्षण पर केंद्रित है। ज्ञात हो कि लगभग 100 वर्ष पूर्व 5 अप्रैल, 1919 को पहला भारतीय समुद्री जहाज़ मुंबई से ब्रिटेन की यात्रा पर रवाना हुआ था, उसी की याद में 1964 से प्रत्येक वर्ष 5 अप्रैल को राष्ट्रीय समुद्री दिवस मनाया जाता है। इस दिवस को मनाने का लक्ष्य आम लोगों को भारतीय जहाज़रानी उद्योग की गतिविधियों के साथ-साथ भारत की अर्थव्यवस्था में इसकी अहम भूमिका से रूबरू कराना है। इतिहासकारों की मानें तो भारत के समुद्री इतिहास की शुरुआत तब हुई थी जब तीसरी सहस्राब्दी ईसा पूर्व सिंधु घाटी के लोगों ने मेसोपोटामिया के साथ अपने समुद्री व्यापार की शुरुआत की थी और जब रोमन साम्राज्य द्वारा मिस्र का अतिक्रमण किया गया, तो रोम के साथ भी व्यापार शुरू हो गया। नौवहन महानिदेशालय द्वारा प्रस्तुत आँकड़ों के मुताबिक, भारत में दिसंबर 2018 तक कुल 43 शिपिंग कंपनियाँ हैं, जिनके पास कुल 1,401 समुद्री जहाज़ मौजूद हैं।

राष्ट्रीय ड्राइविंग लाइसेंस रजिस्टर

डुप्लीकेट ड्राइविंग लाइसेंस को समाप्त करने के उद्देश्य से सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने 31 मार्च से ‘राष्ट्रीय ड्राइविंग लाइसेंस रजिस्टर’ की शुरुआत की है। इस रजिस्टर का उद्देश्य डुप्लीकेट ड्राइविंग लाइसेंस और उसके दुरुपयोग को रोकना है, साथ ही इसके माध्यम से ड्राइविंग लाइसेंस में होने वाले सभी परिवर्तन इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से किये जाएंगे। भारत में सड़क दुर्घटनाओं के कारण प्रतिवर्ष लगभग 1.5 लाख लोगों की मृत्यु होती है, जिनमें से अधिकांश दुर्घटनाओं में ड्राइवर की गलती होती है। यद्यपि राज्यों के अधिकांश ड्राइविंग लाइसेंस पहले से ही राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र के ‘सारथी’ पोर्टल पर मौजूद हैं, इस रजिस्टर के प्रभाव में आने पर आगामी कुछ महीनों में सभी राज्य सरकारों के लिये राज्य के सभी पुराने ड्राइविंग लाइसेंस संबंधित डेटा को ऑनलाइन स्थानांतरित करना अनिवार्य हो जाएगा।

इनसाइट लैंडर

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के इनसाइट लैंडर ने हाल ही में मंगल ग्रह पर भूकंप के दो झटकों को रिकॉर्ड किया है। क्रमशः 3.3 और 3.1 की तीव्रता के ये भूकंप के झटके ‘सर्बरस फॉसए’ नामक क्षेत्र में महसूस किये गए, जहाँ इससे पूर्व भी भूकंप के दो अन्य झटकों को महसूस किया गया था। ज्ञात हो कि ये भूकंप के झटके इस तथ्य की पुष्टि करते हैं कि मंगल ग्रह पर ‘सर्बरस फॉसए’ भूकंपीय रूप से सक्रिय क्षेत्र है। नासा द्वारा प्रस्तुत आँकड़ों की मानें तो नवंबर 2018 में जब से इनसाइट लैंडर ने मंगल ग्रह पर लैंड किया है, तब से 500 से अधिक भूकंप के झटकों को रिकॉर्ड किया जा चुका है। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी की मानें तो मंगल ग्रह पर पृथ्वी की तरह टेक्टोनिक प्लेट नहीं हैं, किंतु वहाँ ज्वालामुखी गतिविधियों की दृष्टि से सक्रिय क्षेत्र ज़रूर मौजूद हैं, जो सतह पर कंपन उत्पन्न कर सकते हैं। ‘इनसाइट’ का पूरा नाम ‘इंटीरियर एक्सप्लोरेशन यूज़िंग सिस्मिक इन्वेस्टिगेशंस जियोडेसी एंड हीट ट्रांसपोर्ट’ (InSight) है। इनसाइट लैंडर मिशन मंगल ग्रह की सतह के नीचे विस्तृत अध्ययन के लिये समर्पित पहला मिशन है, यह 26 नवंबर, 2018 को मंगल ग्रह की सतह पर उतरा था।